रूस और यूक्रेन के बीच जंग जारी है। बीते दिनों रूस ने यूक्रेन पर बड़ा हमला किया। इसमें एक यूक्रेनी फाइटर पायलट की मौत हो गई, जबकि उसका F16 भी तबाह हो गया।
रूस ने शनिवार-रविवार की दरम्यानी रात को यूक्रेन पर सबसे बड़ा हवाई हमला किया। इस हमले में रूस ने यूक्रेन पर 500 से ज्यादा ड्रोन और मिसाइल दागी हैं। यूक्रेनी अधिकारी ने बताया है कि रूसी सेना (Russian Army) ने रातभर में यूक्रेन (Ukraine) पर 477 ड्रोन और 60 मिसाइलें दागी हैं। रूस के इस हमले में यूक्रेन के एक पायलट की मौत हो गई। अमेरिकी फाइटर जेट एफ-16 फाइटर (F16) भी नष्ट हो गया। इस युद्ध में यूक्रेन का ये तीसरा एफ-16 जेट गिरा है। इस जेट का गिरना यूक्रेन के साथ-साथ अमरीका के लिए भी बड़ा झटका है। एफ-16 अमरीका का मल्टी रोल लडाकू विमान है। अमरीका ने यूक्रेन को ये फाइटर जेट दिया है।
पूरा यूक्रेन रहा निशाने पर
यूक्रेनी एयरफोर्स ने टेलीग्राम मैसेजिंग ऐप पर कहा कि एफ-16 के पायलट ने अपने ऑनबोर्ड हथियारों का इस्तेमाल करते हुए सात हवाई लक्ष्यों को मार गिराया। इसी दौरान एक टारगेट को गिराते हुए उसका विमान क्षतिग्रस्त हो गया और हादसे का शिकार हो गया।
यूक्रेनी एयरफोर्स के संचार प्रमुख यूरी इहनात ने कहा कि इस हमले में ड्रोन और अलग-अलग तरह की मिसाइलें दागी गईं। इस हमले में यूक्रेन के पश्चिमी इलाकों समेत तकरीबन पूरे देश को निशाना बनाया गया। पोलैंड की वायु सेना ने रविवार को बताया कि रूसी हमले के मद्देनजर उन्हें भी हवाई क्षेत्र की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए विमान भेजने पड़े।
रूस ने इन मिसाइलों से किया हमला
विशेषज्ञों ने कहा कि इस स्तर की सैन्य कार्रवाई से शांति वार्ता शिथिल पड़ सकती है। उन्होंने कहा कि रूस ने इस हमले के दौरान क्रूज, बैलिस्टिक और हाइपरसोनिक मिसाइलों के साथ-साथ फाल्स टारगेट्स का भी इस्तेमाल किया, ताकि यूक्रेनी डिफेंस सिस्टम को भ्रमित किया जा सके।
यूक्रेन को मिल रही सहायता
यूक्रेन को लगातार यूरोपीय देशों से सहायता मिल रही है। नीदरलैंड और डेनमार्क की तरफ से यूक्रेन को F16 लड़ाकू विमानों की पहली खेप मिली। इन विमानों को अमेरिकी ट्रेनिंग और तकनीकी सहयोग से ऑपरेट किया जा रहा है। बताया जाता है कि 26 मई 2025 को वोल्केल एयरबेस से दो अंतिम F-16 विमानों में से एक को यूक्रेन भेजा गया था, लेकिन अब एक और विमान खोने के बाद यूक्रेन की वायु सुरक्षा क्षमता पर दबाव और बढ़ गया है।
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