Raja Raghuvanshi : रहस्यमयी मौत के बाद अब आत्मा के भटकने की चर्चा

By Surekha Bhosle | Updated: July 24, 2025 • 7:45 PM

भाई का बड़ा बयान: ‘वहीं कराएंगे पूजा, जहां मिली थी लाश’

स्थानीय लोगों और परिजनों का मानना है कि राजा रघुवंशी (Raja Raghuvanshi) की आत्मा (Soul) अब भी मुक्त नहीं हो सकी है। गांव के कुछ लोगों ने दावा किया है कि उन्होंने उस स्थान पर अजीब घटनाएं महसूस की हैं जहां राजा की लाश मिली थी

राजा रघुवंशी Raja Raghuvanshi के छोटे भाई ने कहा कि उनके पिता की भी यही इच्छा थी कि अंतिम शांति हेतु उसी स्थान पर पूजा-पाठ कराया जाए जहां उनका शव मिला था।

इंदौर के ट्रांसपोर्ट कारोबारी राजा रघुवंशी की हत्या के लगभग दो महीने बाद, उनके परिवार ने मेघालय में पूजा-पाठ कराने का निर्णय लिया है. परिवार का मानना है कि राजा की आत्मा भटक रही है.

ट्रांसपोर्ट कारोबारी राजा रघुवंशी की हत्या हुई करीब दो महीने बीत चुके हैं. परिवार का मानना है कि हत्या के बाद से राजा की आत्मा भटक रही है।

मेघालय में उस जगह पर पूजा पाठ कराने का फैसला किया

परिवार ने मेघालय में उस जगह पर पूजा पाठ कराने का फैसला किया है जिस जगह पर 2 जून को राजा रघुवंशी की हत्या हुई थी और लाश मिली थी. आरोप है कि राजा की पत्नी सोनम ने अपने प्रेमी राज और उसके तीन दोस्तों के साथ मिलकर हनीमून के दौरान राजा की हत्याकर दी थी और लाश को खाई में फेंक दिया था।

राजा के भाई विपिन, मंगलवार को शिलॉन्ग पहुंचे थे. उन्होंने मीडिया से हुई बातचीत में कहा कि मैं सोहरा में उस स्थान पर जाऊंगा जहां राजा का शव मिला था.

उन्होंने ये भी कहा कि मैं उस जगह पर पूजा-पाठ करवाना चाहता हूं. विपिन ने कहा कि मुझे लगता है कि उसकी आत्मा अब भी भटक रही है.

हालांकि विपिन ने यह नहीं बताया कि वह किस दिन पूजा कराने वाले हैं और उन्हें ऐसा क्यों लगता है कि राजा की हत्या के बाद उसकी आत्मा भटक रही है. कुछ दिन पहले राजा के पिता ने भी यही कहा था. उन्होंने कहा था कि ऐसा लगता है कि बेटे की आत्मा घर में भटक रही है।

कहां मिली थी राजा की लाश?

राजा रघुवंशी Raja Raghuvanshi की हत्या 23 मई को हुई थी. ईस्ट खासी हिल्स जिले के सोहरा इलाके में एक गहरी खाई में राजा का शव मिलने के बाद इस मामले की कई परतें खुली थी।

आरोप है कि पत्नी सोनम ने तीन अन्य आरोपियों के साथ मिलकर राजा पर धारदार हथियार से हमला किया था और फिर उसकी लाश गहरी खाई में फेंक दी थी. काफी छानबीन के बाद पुलिस ने राजा की लाश बरामद की थी. 11 मई को शादी के बाद राजा और सोनम 20 मई को हनीमून के लिए निकले थे।

सोनम और राज की जमानत रोकने का प्रयास

राजा के भाई विपिन ने कहा कि हम सोनम और राज की जमानत नहीं होने देना चाहते हैं. यदि उनकी ओर से जमानत की याचिका दायर की जाएगी तो इसका विरोध करेंगे।

उन्होंने कहा कि सोनम का भाई गोविंद अपनी बहन और उसके प्रेमी को जमानत दिलाने की कोशिश कर रहा है. राजा के परिवार ने कहा कि यदि राज और सोनम को जमानत मिलती है तो उनकी जान को खतरा हो सकता है।

राजा रघु की वंशावली क्या है?

महाराज रघु अयोध्या के राजा थे। वे इक्षवाकु वंश के महाराज दिलीप के पुत्र थे। महाराज रघु के पुत्र थे महाराज अज एवं महाराज अज के पुत्र थे जो महाराज दशरथ के पिता थे। इससे हमें ये ज्ञान होता है कि महाराज रघु, जिनके नाम से रघुवंश आया; प्रभु श्री राम, कुमार भरत, कुमार लक्षमण तथा कुमार शत्रुघ्न के पूर्वज थे।

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