नई दिल्ली। आजकल की भागदौड़ भरी जिदंगी में लोगों की लाइफस्टाइल (Life Style) तेजी से बदल रही है। खासकर शादीशुदा कपल्स के बीच खानपान की आदतें, लाइफस्टाइल और काम करने के तरीके एक जैसे होते जा रहे हैं। इसी पर आईसीएमआर की एक स्टडी में हैरान करने वाला खुलासा हुआ है। शोध में बताया गया है कि देश में हर चौथा शादीशुदा जोड़ा मोटापे से जूझ रहा है। यानी कि शोध में सामने आया हैं कि पति-पत्नी दोनों ही ओवरवेट या मोटापे के शिकार हैं।
देश में हर चार में से एक शादीशुदा कपल्स (27.4 प्रतिशत) है
शोध के मुताबिक, कपल्स में एक साथ वजन बढ़ने का कारण है उनकी एक जैसी लाइफस्टाइल। जैसे एकसाथ बाहर खाना खाना, टीवी देखते हुए स्नैक्स खाना, कम चलना-फिरना और देर रात स्नैकिंग करना उनके रूटीन का हिस्सा बन चुकी हैं। ये चीजें मेट्रो शहरों में ज्यादा देखने को मिल रही हैं। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) की नई स्टडी के मुताबिक, इंडिया में शादीशुदा जोड़ों के बीच मोटापा तेजी से बढ़ रहा है। देश में हर चार में से एक शादीशुदा कपल्स (27.4 प्रतिशत) ऐसा है, जिसमें पति-पत्नी दोनों ही ओवरवेट या मोटे हैं।
2019-21 के दौरान 52,737 शादीशुदा जोड़ों के आंकड़ों पर आधारित है
ये रिसर्च 2019-21 के दौरान 52,737 शादीशुदा जोड़ों के आंकड़ों पर आधारित है। इस पर आईसीएमआर के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ कैंसर प्रिवेंशन एंड रिसर्च ने स्टडी की है। इस स्टडी में एक नए शब्द का इस्तेमाल किया गया है। जिसका नाम स्पाउस कॉनकॉर्डेंस है। इसका सीधा मतलब है कि जब पति-पत्नी एक-दूसरे की लाइफस्टाइल और आदतों को अपनाते हुए साथ में ही मोटे हो जाते हैं। बता दें कि ये सब आदतें कपल्स के वजन पर सीधा असर डालती हैं।
38.4 प्रतिशत कपल्स में सबसे ज्यादा मोटापा शहरी इलाकों में देखा गया
आईसीएमआर की टीम का कहना है कि शादी के बाद पार्टनर एक-दूसरे की आदतों को अपनाते हैं, चाहे खाने की हो या रूटीन की। इसकारण उनका वजन भी साथ में बढ़ने लगता है। शहरी इलाकों में रहने वाले करीब 38.4 प्रतिशत कपल्स में सबसे ज्यादा मोटापा देखा गया। वहीं वेल्थ फैमिली के कपल में करीब 47.6 प्रतिशत कपल्स ओवरवेट या मोटे पाए गए है। न्यूक्लियर फैमिली में रहने वाले 28.9 प्रतिशत मोटे, एक जैसी उम्र वाले कपल्स- 28.8 प्रतिशत और 31.4 प्रतिशत। बिना नौकरी वाले जोड़े 33.9 प्रतिशत। हर हफ्ते नॉनवेज खाने वाले जोड़े, जैसे अंडा (30.7 प्रतिशत) और चिकन (29.9 प्रतिशत), उनमें भी मोटापा ज्यादा देखा गया है। साउथ इंडिया में 37.2 प्रतिशत और नॉर्थ इंडिया में 33.5 प्रतिशत कपल्स मोटे पाए गए है।
केरल, जम्मू-कश्मीर, मणिपुर, दिल्ली (Delhi) गोवा, तमिलनाडु और पंजाब जैसे राज्यों में 42 प्रतिशत से ज्यादा पति-पत्नी ओवर वेट है। आईसीएमआर की टीम का मानना है कि अब सिर्फ व्यक्तियों पर ध्यान देने से काम नहीं चलेगा। मोटापे से निपटने के लिए पति-पत्नी दोनों को साथ लेकर चलना होगा। खासकर उन जोड़ों को जो शहरी, पढ़े-लिखे और आर्थिक रूप से मजबूत हैं।
भारत में कितने ICMR केंद्र हैं?
वर्तमान में अंतःसंस्थानिक अनुसंधान परिषद के 30 स्थायी अनुसंधान संस्थानों/केन्द्रों के माध्यम से किया जाता है, जो भारत के विभिन्न भागों में स्थित मिशन-उन्मुख राष्ट्रीय संस्थान हैं।
ICMR का मुख्यालय कहाँ है?
आईसीएमआर का मुख्यालय नई दिल्ली में है। यह न तो कोई वैधानिक निकाय है और न ही कोई नियामक निकाय है। आईसीएमआर क्लिनिकल ट्रायल रजिस्ट्री – इंडिया (सीटीआरआई) की मेजबानी करता है। इसकी स्थापना 20 जुलाई 2007 को हुई थी।
Read more : International : जर्मनी में जन्म दर पिछले दो दशकों में सबसे न्यूनतम स्तर पर