बच्ची को खाने का लालच देकर बनाया हवस का शिकार
हैदराबाद। शहर के उपनगर शमशाबाद (Shamshabad) में छह साल की एक बच्ची के साथ उसके पड़ोसी ने कथित तौर पर बलात्कार किया। जानकारी के अनुसार, गुजरात निवासी एक दिहाड़ी मज़दूर (daily wage labourer) ने कथित तौर पर घर के सामने खेल रही बच्ची को खाने का लालच दिया और उसे एक सुनसान जगह पर ले जाकर उसके साथ बलात्कार किया। अपराध को अंजाम देते समय वह शराब के नशे में था। बाद में बच्ची की माँ ने उसे खून बहता हुआ देखा और पूछताछ की। तब जाकर उसने बताया कि क्या हुआ था। शिकायत के आधार पर, आरजीआईए पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। फरार संदिग्ध को पकड़ने के प्रयास जारी हैं।
376 केस में जमानत मिलने में कितना समय लगता है?
भारतीय दंड संहिता की धारा 376 (बलात्कार) एक गंभीर अपराध है और इसमें जमानत अदालती विवेक पर निर्भर करती है। आमतौर पर FIR के बाद तुरंत जमानत नहीं मिलती, लेकिन उच्च न्यायालय या सत्र न्यायालय से जमानत याचिका दाखिल की जा सकती है, जिसमें सप्ताहों या महीनों का समय लग सकता है।
376 के तहत समझौता कैसे करें?
IPC की धारा 376 एक गैर-समझौतावादी अपराध है, यानी इसमें पीड़िता और आरोपी के बीच समझौते की अनुमति नहीं होती। अदालत इस मामले में सीधे संज्ञान लेकर सुनवाई करती है। सुप्रीम कोर्ट भी स्पष्ट कर चुका है कि बलात्कार के मामलों में समझौता कानूनन मान्य नहीं है।
नाबालिग को कितने साल की सजा होती है?
यदि कोई नाबालिग गंभीर अपराध (जैसे हत्या, बलात्कार आदि) करता है और उसकी उम्र 16-18 वर्ष के बीच है, तो जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड तय करता है कि उस पर बालिगों की तरह मुकदमा चलेगा या नहीं। दोषी पाए जाने पर अधिकतम 3 वर्ष की सजा सुधार गृह में दी जा सकती है।
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