प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी योजना द्वारा 8 अप्रैल 2015 को आगाज की गई है। प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (PMMY) को 10 साल पूरे हो चुके हैं। इस अवसर पर पीएम मोदी ने देशभर के लाभार्थियों से संवाद किया और उनके अनुभव साझा किए।
इस योजना का मकसद गैर-कॉर्पोरेट, गैर-कृषि लघु एवं सूक्ष्म उद्यमों को 10 लाख रुपये तक का आसान उपकृत देना है। यह लोन बिना जमानत के और कम से कम सूद दरों पर मिलता है।
पीएम मुद्रा योजना: महिलाओं को मिला आर्थिक संबल
वित्त मंत्रालय के अनुसार, मुद्रा योजना के तहत 70% से अधिक लोन स्त्री व्यापारी को दिए गए। इससे वनिताओं को आर्थिक स्वतंत्रता मिली और लैंगिक समानता को बल मिला।
- प्रति स्त्री औसत लोन राशि 62,679 रुपये तक पहुंच गई है।
- अभिवृद्धिशील जमा राशि 95,269 रुपये तक पहुंची है।
- योजना ने स्त्रीओं को स्वरोजगार और स्व-निर्भरता की राह पर डाला है।
छोटे कारोबारियों को मिली नई उड़ान
काशी के युवा व्यवसायिक विशाल गुप्ता ने बताया कि उन्हें बाजार से लोन नहीं मिल पा रहा था, लेकिन मुद्रा योजना के तहत उन्हें 10 लाख रुपये का लोन मिला। इससे उन्होंने साइबर कैफे आरंभ किया और प्रिंटर जैसी ज़रूरी मशीनें खरीदीं।
उन्होंने कहा: “अगर यह योजना नहीं होती तो हम जैसे छोटे व्यापारी कभी व्यवसाय आरंभ नहीं कर पाते। यह योजना हमारे लिए वरदान है।”

मुद्रा लोन लेने की प्रक्रिया और फायदे
- लोन लेने की प्रक्रिया आसान और तेज है
- किसी गारंटर की जरूरत नहीं होती
- ब्याज दरें बहुत ही कम हैं
- नया कारोबार आरंभ करने या पुराने को बढ़ाने में सहायक
अगर आपके पास कोई छोटा कारोबार है या आप नया स्टार्टअप आरंभ करना चाहते हैं, तो यह योजना आपके लिए बहुत ही फायदेमंद है।