शनिवार सुबह तक जारी रही बारिश
हैदराबाद: हैदराबाद और इसके आसपास के जिलों में रात भर मध्यम से भारी बारिश (Heavy Rain) हुई, जिसमें सबसे भारी बारिश मेडचल-मलकजगिरी और कुथबुल्लापुर के कुछ हिस्सों में हुई। शुक्रवार देर रात से शुरू हुई बारिश शनिवार सुबह तक जारी रही, जिससे कई क्षेत्रों में भारी बारिश हुई। हालांकि शहर के कुछ हिस्सों में जलभराव की स्थिति रही, लेकिन शुक्रवार को 79वें भारतीय स्वतंत्रता दिवस (Independece Day) के अवसर पर सार्वजनिक अवकाश होने के कारण दैनिक जीवन पर इसका प्रभाव न्यूनतम रहा। रात भर हुई बारिश के कारण हैदराबाद और पड़ोसी जिलों के लोगों की सुबह आसमान बादलों से घिरा हुआ था। तेलंगाना विकास योजना सोसाइटी (टीडीपीएस) के आंकड़ों के अनुसार, शुक्रवार और शनिवार के बीच कई स्थानों पर भारी बारिश दर्ज की गई।
राजीव गृहकल्पा में थी 86.3 मिमी बारिश
सबसे अधिक 86.3 मिमी के साथ मेडचल-मलकजगिरी के राजीव गृहकल्पा में थी, इसके बाद कुकटपल्ली गांव (बस्ती दवाखाना) में 80.0 मिमी, शमशीगुड़ा में 75.3 मिमी, शापुर नगर में 74.3 मिमी और ईएसएस गज्जुलारामाराम में 74.3 मिमी थी। ईएसएस जीदिमेटला को भी महत्वपूर्ण 78.3 मिमी प्राप्त हुआ। अन्य क्षेत्र जहां 50 से 60 मिमी के बीच महत्वपूर्ण वर्षा हुई, उनमें पीएचसी सेंटर, बालाजी नगर (57.3 मिमी), फिरोजगुडा कॉम हॉल (54.5 मिमी) और ईएसएस बालानगर (53.8 मिमी) शामिल हैं।
बारिश होने का मुख्य कारण क्या है?
सूरज की गर्मी से समुद्र, नदियों और झीलों का पानी वाष्प बनकर ऊपर उठता है। यह वाष्प ठंडी हवा से मिलकर बादलों में बदल जाता है और जब बादल भारी हो जाते हैं, तो पानी बूंदों के रूप में गिरता है, जिसे बारिश कहते हैं।
बारिश क्या है विस्तार से बताइए?
आकाश से जल की बूंदों का धरती पर गिरना बारिश कहलाता है। यह जलचक्र की सबसे महत्वपूर्ण प्रक्रिया है, जिससे नदियाँ, तालाब और भूजल भरते हैं। बारिश कृषि, पेड़-पौधों, पशु-पक्षियों और मानव जीवन के लिए आवश्यक प्राकृतिक वरदान है।
बारिश कितने प्रकार की होती है?
बारिश मुख्यतः तीन प्रकार की होती है—पहली संवहन वर्षा (गर्मी से वाष्प उठकर ठंडी होकर गिरना), दूसरी पर्वतीय वर्षा (पहाड़ों से टकराकर बादल बरसना), और तीसरी सामूहिक वर्षा (चक्रवात या मानसून से होने वाली)।
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