जम्मू-कश्मीर (Jammu & Kashmir) के रियासी जिले में माता वैष्णो देवी यात्रा (Vaishni Devi Yatra) मार्ग पर मंगलवार को हुए भीषण भूस्खलन ने भारी तबाही मचाई है। इस हादसे में मरने वालों की संख्या बढ़कर 33 हो गई है, जबकि 23 से अधिक लोग घायल हैं। यह भूस्खलन अर्धकुंवारी क्षेत्र में इंद्रप्रस्थ भोजनालय के पास हुआ, जिसने त्रिकूट पहाड़ी के मार्ग को मलबे में तब्दील कर दिया।
मलबे में कई लोगों के फंसे होने की आशंका है, और सेना, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय प्रशासन राहत-बचाव कार्य में जुटे हैं। भारी बारिश के कारण हालात और जटिल हो गए हैं, जिसके चलते जम्मू-कटरा हाईवे बंद है और 22 ट्रेनें रद्द कर दी गई हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने त्रासदी पर गहरा दुख जताया
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस त्रासदी पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा, “श्री माता वैष्णो देवी मंदिर मार्ग पर हुए भूस्खलन के कारण हुई जनहानि दुखद है। मेरी संवेदनाएं शोक संतप्त परिवारों के साथ हैं।” पीएम ने हर संभव मदद का आश्वासन दिया है। जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड के फैसले पर सवाल उठाए, जिसमें भारी बारिश की चेतावनी के बावजूद यात्रा जारी रखने की अनुमति दी गई।
उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने घायलों से अस्पताल में मुलाकात की और राहत कार्यों की समीक्षा की। मृतकों में उत्तर प्रदेश, राजस्थान, पंजाब और दिल्ली के तीर्थयात्री शामिल हैं। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मृतकों के परिजनों के लिए 4 लाख रुपये की आर्थिक सहायता की घोषणा की है।
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