Maharashtra : लातूर के चाकुर (Latur) तालुका के हिंपळनेर गांव (Himpalner village) में यह दर्दनाक घटना घटी है। देविदास पांचाळ अपने परिवार के साथ गांव में रहते थे। उनका बेटा चाकुर के एक कॉलेज में पढ़ाई करता था। बेटे ने पिता से कॉलेज फीस के लिए पैसे मांगे लेकिन भारी बारिश के चलते घर की माली हालत बेहद खराब हो चुकी थी। खाना बनाने के लिए गैस खत्म हो गया था, और घर में रखे पैसे गैस खरीदने में खर्च हो चुके थे। जब पिता ने बेटे को यह बताया कि पैसे नहीं हैं, तो दोनों में कहासुनी हो गई।
पिता के सिर पर वार कर उतारा मौत के घाट
गुस्से में आकर बेटे ने लकड़ी से पिता के सिर पर वार कर दिया। घटना के बाद मां ने डर के मारे पिता को घर में बंद कर दिया ताकि बेटा और हमला न कर सके। बाद में घायल देविदास पांचाळ को ग्रामीण अस्पताल ले जाया गया लेकिन इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई।
पुलिस ने आरोपी को हिरासत में लिया
घटना की जानकारी मिलते ही चाकुर पुलिस मौके पर पहुंची और आरोपी बेटे को हिरासत में ले लिया। पुलिस ने मामला दर्ज कर आगे की जांच शुरू कर दी है। गरीबी और लाचारी ने एक पिता की जान ले ली और बेटे को जेल की सलाखों के पीछे पहुंचा दिया। यह घटना समाज और सिस्टम दोनों पर सवाल खड़े करती है।
लातूर जिले में कितने तालुका हैं?
Latur जिले में कुल 10 तालुका हैं। जिले की मुख्य नदियाँ हैं – लातूर, औसा, रेनापुर, देवनी, निलंगा, उदगीर, अहमदपुर, जलकोट, शिरूर, अनंतपाल और चाकुर।
लातूर जिला कब बनाया गया था?
1960 में महाराष्ट्र के निर्माण के साथ, यह इसका एक जिला बन गया। 15 अगस्त 1982 को लातूर को उस्मानाबाद से अलग करके एक अलग लातूर जिला बनाया गया।
अन्य पढ़ें: