नई दिल्ली । कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) पर चीन को लेकर गंभीर आरोप लगाए हैं। पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं संचार विभाग के प्रभारी जयराम रमेश ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी की तियानजिन में चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से हुई मुलाक़ात भारत के लिए चिंता का विषय है और यह मुलाक़ात राष्ट्रहित के साथ विश्वासघात साबित हुई है।
वार्ता को बताया राष्ट्रहित के खिलाफ
जयराम रमेश ने बयान में कहा कि लंबे समय से भारत, चीन पर आतंकवाद के मुद्दे पर दोहरे मानदंड और दोहरी भाषा अपनाने का आरोप लगाता रहा है। लेकिन तियानजिन वार्ता के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति शी से कहा कि भारत और चीन दोनों आतंकवाद के शिकार हैं। कांग्रेस नेता ने इसे देश की झुकने वाली विदेश नीति करार देते हुए कहा- अगर यह तथाकथित हाथी का तथाकथित ड्रैगन के आगे झुकना नहीं है, तो फिर क्या है?
चीन-पाकिस्तान मिलीभगत पर चुप्पी का सवाल
कांग्रेस नेता ने प्रधानमंत्री की चुप्पी पर भी सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि हाल ही में हुए ऑपरेशन सिंदूर के दौरान चीन और पाकिस्तान की मिलीभगत का खुलासा खुद भारतीय सेना के शीर्ष अधिकारियों ने किया था। इसके बावजूद प्रधानमंत्री मोदी ने अपनी बातचीत में इस मुद्दे पर एक शब्द तक नहीं कहा।
‘56 इंच’ पर साधा निशाना
जयराम रमेश (Jay Ram Ramesh) ने प्रधानमंत्री मोदी को सीधे-सीधे घेरते हुए कहा, “स्वघोषित 56 इंच सीने वाले नेता अब पूरी तरह से बेनकाब हो चुके हैं। उन्होंने 19 जून, 2020 को चीन को क्लीन चिट देकर राष्ट्रहित के साथ विश्वासघात किया था। अब, 31 अगस्त, 2025 भी तियानजिन में उनके कायरतापूर्ण दंभ के लिए बदनामी के दिन के रूप में याद किया जाएगा।”
कांग्रेस ने चीन नीति को बताया विफल
कांग्रेस ने मोदी सरकार (Modi Government) की चीन नीति को पूरी तरह विफल बताते हुए कहा है कि प्रधानमंत्री की ढील और चुप्पी से भारत की सुरक्षा और सम्मान पर गहरा आघात हुआ है। पार्टी का आरोप है कि मोदी सरकार लगातार चीन के दबाव में काम कर रही है और वास्तविकता को देश की जनता से छिपाया जा रहा है।
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