किसी के घर तो किसी के ऑफिस में घुसा पानी
Mumbai Rains : मुंबई (Mumbai) में बारिश (Rains) रुकने का नाम नहीं ले रही है, जिसकी वजह से भारतीय मौसम विभाग ने रेड अलर्ट जारी किया है। मुंबई में बारिश (Rains) इस साल फिर कहर बरसा रही है, जिसके कारण लोगों का बाहर निकाल पाना भी मुश्किल हो गया है। बारिश के बाद कई इलाकों में पानी भर गया है। इसके कारण रेल और हवाई सेवा बुरी तरह प्रभावित हुई है। सुबह से ही तेज बारिश का सामना मुंबई वासियों को करना पड़ रहा है। मूसलाधार बारिश अब लोगों के साथ-साथ बॉलीवुड स्टार्स के लिए भी आफत बन गई है। अमिताभ बच्चन के ऑफिस ‘जनक’ और ऋतिक रोशन के बंगले में भी पानी घुसा गया है, जहां उनका परिवार रहता है।
मूसलाधार बरसात से परेशान बॉलीवुड के सितारे
सदी के महानायक अमिताभ बच्चन के बंगले ‘जनक’ में पानी घुसा गया है। ‘जनक’ बंगले का इस्तेमाल बच्चन परिवार अपने ऑफिर के रूप में करता है। हालांकि, अब वो इलाका जलमग्न हो गया है। जानकारी के लिए बता दें कि जनक बंगला मुंबई के जुहू इलाके में है। वहीं, यश चोपड़ा का परिवार जिस बंगले में रहता है, वह भी बारिश की वजह से बुरी तरह प्रभावित हुआ है।
ऋतिक रोशन के घर में घुसा पानी
बॉलीवुड एक्टर अजय देवगन के बंगले शिव शक्ति के बाहर सड़क पर पानी भरा हुआ है, जिसके कारण वहां कोई भी आना-जाना नहीं कर सकता। वहीं, ऋतिक रोशन की फैमिली जिस बंगले में रहती है। वहां भी पानी भर गया। परेशानी की बात अब ये है कि मुंबई के सबसे पॉश जुहू इलाके की कई सडकें जलमग्न हो गई है।
भारी बारिश से मुंबई बेहाल
सोमवार (18 अगस्त, 2025) को मुंबई में भारी बारिश और भीषण जलभराव की स्थिति रही, जिसके चलते अधिकारियों ने शहर और उसके उपनगरों को दो दिनों के लिए रेड अलर्ट पर रखा। महाराष्ट्र के पालघर, सिंधुदुर्ग, औरंगाबाद, हिंगोली, जलगांव, जालना, नांदेड़ और परभणी जिलों को ऑरेंज अलर्ट पर रखा गया है, जबकि अन्य जिलों को येलो अलर्ट पर रखा गया है।
इतनी भारी बारिश क्यों होती है मुंबई में?
मुंबई में मानसून के दौरान भारी बारिश आमतौर पर तेज़ पश्चिमी हवाओं जैसे कारकों से प्रभावित होती है, जो नमी लाती हैं और संवहन बनाती हैं । मानसून गर्त या सोमाली जेट जैसी मौसम प्रणालियाँ भी इसमें भूमिका निभाती हैं।
मुंबई में बाढ़ का मुख्य कारण क्या है?
भारत के मुंबई जैसे तटीय क्षेत्रों में, जहां भारी मानसूनी बारिश से गंभीर बाढ़ आ सकती है, विशेष रूप से निचले इलाकों में, मौसम विज्ञान और जल विज्ञान संबंधी उद्देश्यों के लिए प्रति घंटे वर्षा का सटीक अनुमान लगाना आवश्यक है।