लखनऊ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने जनजातीय समाज के जीवन में सुरक्षा, सम्मान और स्वावलंबन को सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्धता जताई है। उन्होंने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए (NDA) की डबल इंजन सरकार विकास, सुरक्षा और सुशासन को साथ लेकर आगे बढ़ रही है और जनजातीय समाज को मुख्यधारा के विकास का अग्रणी भागीदार बनाने के लिए पूरी निष्ठा के साथ काम कर रही है।
विकास की मुख्यधारा में अग्रणी भागीदार बनेगा जनजातीय समाज : सीएम योगी
बिरसा मुंडा जी की 150 वीं जयंती के उपलक्ष्य में जनजातीय बाहुल्य जनपद सोनभद्र के चोपन में आयोजित जनजातीय गौरव दिवस कार्यक्रम में सीएम योगी ने कहा कि यह अवसर केवल स्मरण का नहीं, बल्कि जनजातीय गौरव को विकास से जोड़ने का है। डबल इंजन की सरकार जनजातीय समाज की सुरक्षा, सम्मान और स्वावलंबन के लिए उनके साथ कदम से कदम मिलाकर खड़ी है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि भगवान बिरसा मुंडा के आदर्शों से प्रेरित होकर सोनभद्र और पूरे उत्तर प्रदेश का जनजातीय समाज राष्ट्र की एकता, सुरक्षा और समृद्धि के लिए अपनी सक्रिय भूमिका निभाता रहेगा और विकास की मुख्यधारा में अग्रणी भागीदार बनेगा।
अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ संघर्ष छेड़ा था बिरसा मुंडा ने
बिरसा मुंडा जी को नमन करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि आज से 150 वर्ष पहले 1875 में जन्मे धरती आबा ने मात्र 25 वर्ष की आयु में अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ जो संघर्ष छेड़ा, वह आज भी नए भारत के लिए मार्गदर्शक है। रांची जेल में यातनाओं के बीच उनका बलिदान व्यर्थ नहीं गया, ब्रिटिश हुकूमत को जनजातीय समुदाय के अधिकारों को स्वीकार करने के लिए झुकना पड़ा। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज स्वतंत्र भारत में वही संघर्ष जनजातीय समाज के सम्मान, हिस्सेदारी और विकास के रूप में आगे बढ़ रहा है और डबल इंजन की सरकार इस विरासत को न्यायपूर्ण नीतियों और ठोस कार्यों में बदल रही है।

सोनभद्र को 548 करोड़ रुपये की विभिन्न विकास परियोजनाओं की सौगात
मुख्यमंत्री ने कहा कि आज सोनभद्र को 548 करोड़ रुपये की विभिन्न विकास परियोजनाओं की सौगात दी गई है, जो कनेक्टिविटी से लेकर बुनियादी सुविधाओं तक, जनपद के समग्र विकास की नई दिशा तय करेंगी। इस अवसर पर सोनभद्र के पर्यटन स्थलों पर आधारित पुस्तिका तथा मां विंध्यवासिनी विश्वविद्यालय, मीरजापुर की कुलपति द्वारा लिखित धरती आबा बिरसा मुंडा पर आधारित पुस्तक का विमोचन भी किया गया। इस विशेष अवसर पर अरुणाचल प्रदेश के जनजातीय समूह द्वारा याक नृत्य, छत्तीसगढ़ के सरगुजा जनजातीय समूह तथा सोनभद्र के करमा नृत्य की मनमोहक प्रस्तुतियों के माध्यम से भारत की बहुरंगी जनजातीय संस्कृति को मंच पर जीवंत कर दिया।
जनजातीय समाज क्या है?
जनजातीय समाज (Tribal Society) वे समुदाय होते हैं जो परंपरागत रूप से जंगल, पर्वतीय या दूरस्थ क्षेत्रों में रहते आए हैं और जिनकी अपनी विशिष्ट सांस्कृतिक पहचान, भाषा, रीति-रिवाज, जीवनशैली और सामाजिक संरचना होती है।
2025 में भारत की सबसे बड़ी जनजाति कौन सी होगी?
उपलब्ध जनगणना और जनसांख्यिकीय अनुमानों के आधार पर, भील (Bhil) जनजाति भारत की सबसे बड़ी जनजाति है, और 2025 में भी सबसे बड़ी ही रहेगी।
भील मुख्य रूप से राजस्थान, मध्य प्रदेश, गुजरात और महाराष्ट्र में पाए जाते हैं।
जनजातीय लोग कौन थे?
जनजातीय लोग वे समुदाय थे जो प्राचीन काल से प्राकृतिक परिवेश—जंगल, पहाड़, नदी घाटियों—के साथ जुड़े रहते थे। वे अपना जीवन आजीविका, सामाजिक ढांचा और सांस्कृतिक प्रथाएँ स्थानीय प्राकृतिक संसाधनों पर आधारित रखते थे।
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