हैदराबाद। कृषि, हथकरघा एवं वस्त्र मंत्री (Minister) तुम्मला नागेश्वर राव ने कहा कि तेलंगाना हथकरघा श्रमिकों के कल्याण और विकास में अग्रणी है और जियो-टैगिंग की प्रक्रिया (Geo-Tagging) में भी अग्रणी है।
पीपुल्स प्लाजा में हथकरघा वस्त्र प्रदर्शनी का उद्घाटन
हथकरघा दिवस समारोह के एक भाग के रूप में, मंत्री ने गुरुवार को हैदराबाद के पीपुल्स प्लाजा में में वस्त्र प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। प्रदर्शनी में 100 से अधिक स्टॉल हैं और यह 17 अगस्त तक चलेगी। उन्होंने प्रदर्शित हथकरघा वस्तुओं का अवलोकन किया और प्रदर्शनी में स्टॉल लगाने के लिए कारागार विभाग के योगदान की भी प्रशंसा की। मंत्री ने कोंडा लक्ष्मण बापूजी हथकरघा पुरस्कार प्राप्त करने वालों को बधाई दी।
भारतीय संस्कृति का प्रतीक है हथकरघा : तुम्मला
इस अवसर पर बोलते हुए, तुम्मला ने कहा कि यह केवल आजीविका का साधन नहीं है, बल्कि भारतीय संस्कृति का प्रतीक है। उन्होंने कहा, “यह एक हस्तकला है जो पीढ़ी-दर-पीढ़ी चली आ रही है। इस कला को संरक्षित करना हम सभी की ज़िम्मेदारी है। तेलंगाना राज्य ने इस क्षेत्र में देश भर में विशेष पहचान बनाई है और गदवाला, नारायणपेट, पोचमपल्ली इक्कत, सिद्दीपेट गोलाभामा, वारंगल दर्री, करीमनगर बेडशीट जैसे उत्पाद अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रसिद्ध हैं।“
उत्पादों के उपयोग को बढ़ाने के लिए कपड़े खरीदने के निर्देश : मंत्री
मंत्री ने कहा कि उत्पादों के उपयोग को बढ़ाने के लिए सरकारी विभागों को केवल टेस्को के माध्यम से ही कपड़े खरीदने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने बताया, “आईआईएचटी (भारतीय हथकरघा प्रौद्योगिकी संस्थान) के माध्यम से युवाओं को कौशल प्रशिक्षण प्रदान करके कला को नई पीढ़ी तक पहुँचाने के प्रयास किए जा रहे हैं।” इस अवसर पर, मंत्री ने त्रिलिंगा सिल्क साड़ियों और तेलंगाना प्रामाणिक बुनाई लोगो का अनावरण किया। प्रमुख सचिव (वस्त्र) शैलजा रामअय्यर और अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
भारत में हथकरघा दिवस कब मनाया जाता है?
National Handloom Day हर साल 7 अगस्त को मनाया जाता है।
इस दिन का उद्देश्य भारत की Handloom विरासत को सम्मान देना और हथकरघा बुनकरों को प्रोत्साहित करना है।
हथकरघा की स्थापना कब हुई थी?
Handloom कोई एक संस्था नहीं, बल्कि एक प्राचीन पारंपरिक तकनीक है जो भारत में हजारों वर्षों से अस्तित्व में है।
भारत में Handloom के लिए कौन सा राज्य प्रसिद्ध है?
भारत में कई राज्य Handloom कार्य के लिए प्रसिद्ध हैं, लेकिन इनमें प्रमुख हैं:
- तमिलनाडु – कांजीवरम सिल्क साड़ियों के लिए प्रसिद्ध
- बिहार – भागलपुरी सिल्क
- उत्तर प्रदेश – बनारसी साड़ी
- आंध्र प्रदेश और तेलंगाना – पोचमपल्ली इकट और नारायणपेट साड़ी
- असम – मूगा और एरी सिल्क
- ओडिशा – सांभरपुरी और बोमकाई साड़ी
- पश्चिम बंगाल – तांत और बलूचरी साड़ी
विशेष रूप से, वाराणसी (उत्तर प्रदेश) और कांजीवरम (तमिलनाडु) हथकरघा की गुणवत्ता और परंपरा के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी प्रसिद्ध हैं।
Read also: PRSI: सत्य पर प्रकाश डालने के लिए जनसंपर्क सर्वोत्तम माध्यम : प्रो. गंता चक्रपाणि