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CBSE : 9वीं से 12वीं तक टीचर बनने के लिए अब CTET पास करना अनिवार्य

Anuj Kumar
Anuj Kumar
CBSE : 9वीं से 12वीं तक टीचर बनने के लिए अब CTET पास करना अनिवार्य

अगर आप 9वीं से 12वीं कक्षा तक पढ़ाने वाले शिक्षक बनने का सपना देखते हैं तो आपके लिए एक बड़ी खबर है। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) जल्द ही एक नई गाइडलाइन जारी करने वाला है, जिसके अनुसार अब 9वीं से 12वीं कक्षा तक पढ़ाने के लिए भी सेंट्रल टीचर एलिजिबिलिटी टेस्ट (CTET) पास करना अनिवार्य होगा। यह कदम शिक्षकों की गुणवत्ता को बेहतर बनाने और शिक्षा के स्तर को ऊपर उठाने के लिए उठाया जा रहा है।

CTET क्या है और अब तक इसका दायरा क्या था?

CTET यानी सेंट्रल टीचर एलिजिबिलिटी टेस्ट एक राष्ट्रीय स्तर की परीक्षा है, जिसे CBSE और नेशनल काउंसिल फॉर टीचर एजुकेशन (NCTE) मिलकर आयोजित करते हैं। यह परीक्षा खासकर उन अभ्यर्थियों के लिए होती है जो केंद्रीय स्कूल जैसे कि केंद्रीय विद्यालय (KVS), नवोदय विद्यालय (NVS), और CBSE से संबद्ध अन्य स्कूलों में शिक्षक बनना चाहते हैं।

पहले CTET दो लेवल पर आयोजित होती थी

पेपर 1: कक्षा 1 से 5 तक पढ़ाने के इच्छुक कैंडिडेट्स के लिए।
पेपर 2: कक्षा 6 से 8 तक पढ़ाने के लिए।

अब तक 9वीं से 12वीं कक्षा के शिक्षकों के लिए CTET देना जरूरी नहीं था, बस उनकी योग्यता के लिए B.Ed. और संबंधित विषय में पोस्ट ग्रेजुएशन होना जरूरी था।

नए नियम के तहत क्या होगा बदलाव?

CBSE और NCTE मिलकर CTET के दायरे को बढ़ाने जा रहे हैं। इस बदलाव के बाद CTET की परीक्षा अब चार स्तरों पर आयोजित हो सकती है:

बाल वाटिका या प्रारंभिक शिक्षा (नर्सरी, कक्षा 1 से पहले)

कक्षा 1 से 5 तक
कक्षा 6 से 8 तक
नया स्तर: कक्षा 9 से 12 तक

इसका मतलब यह है कि अब हाई स्कूल या सेकेंडरी स्कूल में टीचर बनने के लिए भी CTET पास करना अनिवार्य होगा। यह नया नियम CBSE से संबद्ध सभी स्कूलों पर लागू होगा। इसके अलावा, प्रारंभिक शिक्षा के लिए भी CTET का एक अलग पेपर शुरू हो सकता है।

नया नियम कब लागू होगा?


रिपोर्ट्स के अनुसार, CBSE इस साल या अगले साल तक नई गाइडलाइन जारी कर सकता है। हालांकि कुछ आंतरिक परीक्षाओं और प्रक्रियाओं के कारण इसमें थोड़ी देरी हो रही है, लेकिन उम्मीद है कि 2025 से CTET चार लेवल पर आयोजित होने लगेगी।

9वीं से 12वीं तक टीचर बनने की अब तक की योग्यता क्या थी?

इस समय 9वीं से 12वीं कक्षा में पढ़ाने वाले शिक्षकों के लिए बीएड (बैचलर ऑफ एजुकेशन) और संबंधित विषय में पोस्ट ग्रेजुएशन डिग्री जरूरी होती है। कई स्कूलों में CTET देना अनिवार्य नहीं था और यह स्कूल की अपनी नीति पर निर्भर था। लेकिन CBSE से जुड़े स्कूलों में CTET पास होना पहले से आवश्यक था। नया नियम लागू होने के बाद, सभी CBSE स्कूलों में 9वीं से 12वीं तक टीचरों के लिए CTET पास होना अनिवार्य हो जाएगा।

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