पटना,। बिहार में पुलिस भर्ती परीक्षाओं से ठीक पहले आर्थिक अपराध इकाई (EOU) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए प्रदेश के सबसे कुख्यात परीक्षा माफिया संजय कुमार प्रभात को गिरफ्तार किया है। गोला रोड स्थित ठिकाने से की गई इस गिरफ्तारी ने पूरे परीक्षा माफिया नेटवर्क को हिलाकर रख दिया है। वर्षों से प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक करने में सक्रिय संजय को पकड़ने को EOU बड़ी सफलता मान रही है।
चालक सिपाही और प्रवर्तन निरीक्षक परीक्षा को बनाया था निशाना
गोपनीय इनपुट के आधार पर EOU को सूचना मिली थी कि 10 दिसंबर को होने वाली चालक सिपाही भर्ती परीक्षा और 14 दिसंबर को होने वाली परिवहन विभाग की प्रवर्तन उप निरीक्षक परीक्षा के प्रश्नपत्र लीक करने की साजिश पूरी तरह तैयार है। इसके बाद EOU की स्पेशल टीम ने त्वरित छापेमारी कर आरोपी को रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।
अन्य पढ़ें: Punjab-पंजाब चुनाव 2027 से पहले कांग्रेस में बढ़ी अंदरूनी खींचतान
पूछताछ में चौंकाने वाले खुलासे: करोड़ों में होता था सौदा
गिरफ्तारी के बाद प्रारंभिक पूछताछ में संजय प्रभात ने कई अहम जानकारियाँ सामने रखीं—
- वह कई प्रमुख परीक्षाओं के प्रश्नपत्र पहले भी लीक करा चुका है।
- हर पेपर के बदले 10 लाख से 2 करोड़ रुपए तक की रकम वसूलता था।
- बिहार के विभिन्न जिलों में उसका मजबूत एजेंट नेटवर्क फैला हुआ है।
- सोशल मीडिया, कोड वर्ड्स और गुप्त चैट ऐप के जरिए डील करता था।
पुलिस अब उसके मोबाइल डेटा, बैंक खातों, डिजिटल लेन-देन और कॉल रिकॉर्ड की जांच कर रही है।
राज्यभर में विशेष अभियान, कई और गिरफ्तारी की संभावना
EOU अधिकारियों ने बताया कि यह केवल शुरुआत है। पूरे रैकेट का सफाया करने के लिए राज्यव्यापी अभियान चलाया जा रहा है। कई और संदिग्धों की पहचान की जा चुकी है और आने वाले दिनों में कई बड़ी गिरफ्तारियां होने की संभावना है।
अभ्यर्थियों से EOU की अपील: पेपर लीक की सूचना तुरंत दें
बिहार पुलिस और EOU ने सभी परीक्षार्थियों से अपील की है— यदि कोई भी व्यक्ति पेपर लीक या सॉल्वर गैंग से जुड़ी पेशकश करता है तो तुरंत 06228-229999 (EOU हेल्पलाइन) या 100 पर सूचना दें। पहचान गोपनीय रखी जाएगी।” परीक्षा केंद्रों पर जैमर (Jammer) ड्रोन निगरानी (Drone Supervision ) और तीन-लेयर सुरक्षा की व्यवस्था भी सुनिश्चित की जा रही है, जिससे परीक्षाएं पूरी पारदर्शिता के साथ संपन्न हो सकें।
Read More :