जेनेवा। अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी आईएईए (IAEA) के महानिदेशक राफेल ग्रॉसी ने ईरानी परमाणु सुविधाओं पर इजराइली हमलों से परमाणु संदूषण यानी रेडियोधर्मी और रासायनिक प्रदूषण के खतरे की चेतावनी दी है। उन्होंने कहा कि ईरान (IRAN) में परमाणु ठिकानों पर हमलों ने देश में परमाणु सुरक्षा और संरक्षा में भारी गिरावट ला दी है। अभी तक इनसे जनता को प्रभावित करने वाला कोई रेडियोधर्मी उत्सर्जन नहीं हुआ है, लेकिन ऐसा होने का खतरा है।
रेडियोलॉजिकल और रासायनिक दोनों तरह का संदूषण है
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक सुरक्षा परिषद की आपातकालीन बैठक में अपनी ब्रीफिंग में ग्रॉसी ने कहा कि इजराइली हमले के बाद नतांज साइट के बाहर रेडियोधर्मिता का स्तर अपरिवर्तित और सामान्य स्तर पर है, लेकिन सुविधा के अंदर रेडियोलॉजिकल और रासायनिक दोनों तरह का संदूषण है। उन्होंने कहा कि मुख्य रूप से अल्फा कणों से युक्त विकिरण अगर सांस के साथ अंदर जाए या निगला जाए तो एक बड़ा खतरा पैदा करता है। श्वसन उपकरणों का उपयोग करने जैसे उचित सुरक्षात्मक उपायों के साथ इस जोखिम को प्रभावी ढंग से प्रबंधित किया जा सकता है। सुविधा के अंदर मुख्य चिंता रासायनिक विषाक्तता है।
13 जून के हमले में एस्फाहान परमाणु स्थल पर चार इमारतें क्षतिग्रस्त हो गईं थीं
बता दें 60 फीसदी यूरेनियम को समृद्ध करने के लिए फोर्डो ईरान का मुख्य संवर्धन स्थान है। उन्होंने कहा कि आईएईए को इस समय फोर्डो में किसी भी नुकसान की जानकारी नहीं है। 13 जून के हमले में एस्फाहान परमाणु स्थल पर चार इमारतें क्षतिग्रस्त हो गईं थीं। ऑफ-साइट विकिरण के स्तर में कोई वृद्धि नहीं हुई। उन्होंने कहा कि नतांज की तरह, मुख्य चिंता केमिकल टॉक्सिटी की है। ग्रॉसी ने कहा कि अन्य परमाणु सुविधाओं पर हमलों का कोई रेडियोलॉजिकल प्रभाव नहीं पड़ा है। संयुक्त राष्ट्र परमाणु निगरानी संस्था के प्रमुख ने बुशहर परमाणु ऊर्जा संयंत्र पर हमले के गंभीर परिणामों की चेतावनी दी, जो एक चालू परमाणु ऊर्जा संयंत्र है और जिसमें हजारों किलोग्राम परमाणु सामग्री रखी है।
हमले से इसके रिएक्टर का कोर पिघल सकता है
उन्होंने कहा कि मैं यह बिल्कुल और पूरी तरह से स्पष्ट करना चाहता हूं कि बुशहर परमाणु ऊर्जा संयंत्र पर हमले के मामले में सीधे हमले के परिणामस्वरूप पर्यावरण में रेडियोधर्मी विकिरणों का बहुत ज्यादा उत्सर्जन हो सकता है। इसी तरह संयंत्र को बिजली की आपूर्ति करने वाली केवल दो लाइनों को निष्क्रिय करने वाले हमले से इसके रिएक्टर का कोर पिघल सकता है, जिसके परिणामस्वरूप पर्यावरण में रेडियोधर्मिता का उच्च उत्सर्जन हो सकता है। अपने सबसे खराब मामले में, दोनों परिदृश्यों में सुरक्षात्मक कार्रवाई की जरुरत होगी, जैसे कि आबादी को निकालना और आश्रय देना या स्थिर आयोडीन लेने की जरुरत, जिसकी पहुंच कुछ से लेकर कई सौ किलोमीटर तक हो सकती है।
उन्होंने चेतावनी दी कि विकिरण निगरानी को कई सौ किलोमीटर की दूरी को कवर करने की जरुरत होगी और खाद्य प्रतिबंधों को लागू करने की जरुरत भी हो सकती है। ग्रॉसी ने चेतावनी देते हुए कहा कि तेहरान परमाणु अनुसंधान रिएक्टर के खिलाफ किसी भी कार्रवाई के गंभीर परिणाम हो सकते हैं। संभवतः शहर के बड़े क्षेत्रों और उसके निवासियों के लिए। उन्होंने कहा कि परमाणु सुविधाओं पर सशस्त्र हमले कभी नहीं होने चाहिए उन्होंने अधिकतम संयम बरतने का आह्वान किया।
ईरान में परमाणु हथियार विकसित नहीं किए जाएंगे
उन्होंने कहा कि सैन्य वृद्धि से जीवन को खतरा है। आईएईए एक वाटरटाइट निरीक्षण प्रणाली के जरिए गारंटी दे सकता है कि ईरान में परमाणु हथियार विकसित नहीं किए जाएंगे। वे एक दीर्घकालिक समझौते का आधार बन सकते हैं जो शांति लाता है और मध्य पूर्व में परमाणु संकट को रोकता है। इस अवसर को नहीं गंवाना चाहिए। उन्होंने कहा कि इसका विकल्प एक लम्बा संघर्ष और परमाणु प्रसार का खतरा होगा, जो मध्य पूर्व से उत्पन्न होकर परमाणु अप्रसार संधि और समग्र रूप से परमाणु अप्रसार व्यवस्था को प्रभावी रूप से नष्ट कर देगा।
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