पोचमपल्ली इक्कत साड़ी: तेलंगाना राज्य इस वक्त अंतरराष्ट्रीय सुर्खियों में है। इसका कारण है — मिस वर्ल्ड प्रतियोगियों का दौरा, जो न केवल पर्यटन को बढ़ावा देने का माध्यम बना, बल्कि भारतीय संस्कृति, परंपरा और हस्तशिल्प कला को वैश्विक स्तर पर पहचान दिलाने का अवसर भी बना।
यदागिरिगुट्टा देवालय में मिस वर्ल्ड प्रतिभागियों ने की पूजा-अर्चना
तेलंगाना के यदाद्री भुवनगिरी जिले में स्थित श्री लक्ष्मी नरसिम्हा स्वामी देवालय में गुरुवार शाम मिस वर्ल्ड प्रतियोगी विशेष दर्शन के लिए पहुंचीं।
बैटरी चालित वाहनों द्वारा वे देवालय की पहाड़ी चोटी तक पहुंचीं।
उन्होंने अखंड दीपाराधना मंडपम में आयोजित ज्योति प्रज्वलन समारोह में भाग लिया।
इस मौके पर तेलंगाना सरकार के सचेतक बीरला इलैया, जिला कलेक्टर वीरा रेड्डी और आरडीओ कृष्णा रेड्डी भी उपस्थित थे।

सुरक्षा की दृष्टि से तेलंगाना (Telangana) स्पेशल पुलिस और ऑक्टोपस बल की तैनाती की गई थी।
प्रतियोगियों ने देवस्थान की वास्तुकला और नक्काशी को देखकर गहरी आस्था और उत्सुकता दिखाई।
पोचमपल्ली गांव में मिस वर्ल्ड की पारंपरिक यात्रा
नलगोंडा जिले का पोचमपल्ली गांव, जो हथकरघा पर्यटन गांव के रूप में जाना जाता है, एक बार फिर बातचीत में आया।
25 से अधिक देशों की मिस वर्ल्ड प्रतियोगी यहां पहुंचीं और स्थानीय ग्रामीणों ने पारंपरिक तरीके से उनका स्वागत किया।
इक्कत साड़ियों की बुनाई की कला से विदेशी सुंदरियां बेहद प्रभावित हुईं।
कई प्रतियोगियों ने स्वयं करघे पर बैठकर साड़ियों की बुनाई का अनुभव लिया।

गांव की गलियों में घूमते हुए, खेतों में समय बिताते हुए और स्थानीय जीवनशैली का अनुभवन करते हुए यह यात्रा किसी संवेदनात्मक अनुभव से कम नहीं थी।
पर्यटन, संस्कृति और कला — तीनों का अनूठा संगम।
पोचमपल्ली इक्कत साड़ी: इस दौरे के माध्यम से तेलंगाना ने एक बार फिर सिद्ध किया कि वह न केवल आध्यात्मिक पर्यटन बल्कि संस्कृति, कला और विरासत का भी केंद्र है।
यह सिर्फ एक यात्रा नहीं थी, बल्कि भारतीय संस्कृति को विश्व रंगमंच पर ले जाने का मौका था।