वाशिंगटन। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ऐलान किया है कि वो रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से फोन पर बात करेंगे। ट्रंप का दावा है कि इस बातचीत का मकसद है, ‘खूनी युद्ध को खत्म करना’। ट्रंप ने कहा है कि वह पहले पुतिन से बात करेंगे, फिर यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की से, और उसके बाद नाटो के प्रतिनिधियों से मिलकर संभावित सीजफायर डील पर चर्चा करेंगे।
- हर हफ्ते औसतन 5,000 रूसी और यूक्रेनी सैनिक मारे जा रहे हैं
- एक सीजफायर तय होगी और ये खतरनाक युद्ध जो कभी शुरू ही नहीं होना चाहिए था, वो खत्म होगा
- रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने 11 मई को क्रेमलिन में कीव प्रशासन को सीधे वार्ता का प्रस्ताव दिया था
ट्रंप के मुताबिक, हर हफ्ते औसतन 5,000 रूसी और यूक्रेनी सैनिक मारे जा रहे हैं, और अब यह ‘खूनी बर्बादी’ बंद होनी चाहिए। ट्रंप ने ट्रुथ सोशल पर कहा, उम्मीद है, सोमवार एक प्रोडक्टिव दिन होगा। एक सीजफायर तय होगी और ये खतरनाक युद्ध जो कभी शुरू ही नहीं होना चाहिए था, वो खत्म होगा। बता दें कि रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने 11 मई को क्रेमलिन में कीव प्रशासन को सीधे वार्ता का प्रस्ताव दिया था।
16 मई को रूस-यूक्रेन वार्ता के दौरान कैदी आदान-प्रदान समझौते का किया स्वागत
हालांकि उन्होंने बिना किसी शर्त के वार्ता का प्रस्ताव रखा। बता दें कि दोनों देशों के बीच 2022 में बातचीत की कोशिश हुई थी जिसका कोई परिणाम नहीं निकला था और इसे स्थगित कर दिया गया था। अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने आज रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव से बात की। उन्होंने 16 मई को इस्तांबुल में हुई रूस-यूक्रेन वार्ता के दौरान हुए कैदी आदान-प्रदान समझौते का स्वागत किया।
अमेरिका रूस-यूक्रेन युद्ध को समाप्त करने के लिए प्रतिबद्ध है
रुबियो ने राष्ट्रपति ट्रंप का कड़ा संदेश दिया कि अमेरिका रूस-यूक्रेन युद्ध को समाप्त करने के लिए प्रतिबद्ध है। अमेरिका द्वारा प्रस्तावित शांति योजना को ही आगे का सबसे अच्छा रास्ता बताया गया। ट्रंप ने तुरंत युद्धविराम और हिंसा रोकने की अपील की है। बातचीत में स्थायी शांति की दिशा में सहयोग की उम्मीद जताई गई। रुबियो ने गुरुवार को कहा था कि इस संघर्ष का हल सैन्य तरीके से नहीं निकाला जा सकता। इसके लिए कूटनीति ही एकमात्र रास्ता है। उन्होंने तुर्की के अंताल्या में नाटो देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक में यह बयान दिया।
Read more : आसमानी जंग के लिए अमेरिका बना रहा घातक फाइटर प्लेन