- रामगोपाल यादव ने विंग कमांडर (Wing commander) व्योमिका सिंह की जाति बताई
- योगी आदित्यनाथ ने जातिवादी सोच को घोर अपमान बताया
- समाजवादी पार्टी ने दी सफाई, कहा बयान तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया
बयान ने उठाया जाति और सेना पर सवाल
समाजवादी पार्टी के महासचिव रामगोपाल यादव ने मुरादाबाद में एक कार्यक्रम के दौरान भारतीय वायुसेना की अफसर विंग कमांडर व्योमिका सिंह को लेकर विवादित बयान दिया। उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर (Operation Sindoor) को अंजाम देने वालों में एक मुसलमान, एक जाटव और एक यादव सम्मिलित हैं।
रामगोपाल यादव ने इस बात को पीडीए (पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक) की ताकत बताते हुए दावा किया कि बीजेपी इस अभियान का श्रेय नहीं ले सकती।

सीएम योगी आदित्यनाथ का पलटवार
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रामगोपाल यादव के बयान की कड़ी निंदा करते हुए कहा,
“सेना की वर्दी को जातिवादी चश्मे से देखना वीर सपूतों के शौर्य का अपमान है।”
उन्होंने यह भी कहा कि समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) जातिगत राजनीति से ऊपर उठने को मुस्तैद नहीं है, और देश की सुरक्षा से जुड़े मुद्दे को भी वोटबैंक से जोड़ रही है।
रामगोपाल यादव की सफाई
बवाल बढ़ने के बाद रामगोपाल यादव ने सोशल मीडिया ‘एक्स’ (Twitter) पर सफाई दी। उन्होंने लिखा कि उनका बयान विशेष रूप से उन लोगों के लिए था जो धर्म और जाति के आधार पर अफसरों को ट्रोल करते हैं।
उन्होंने यह भी कहा:
“अगर उन्हें पता चलता कि व्योमिका सिंह जाटव और एयर मार्शल अवधेश भारती यादव हैं, तो वे उन्हें भी गालियां देते।”
रामगोपाल ने अपने बयान को गलत प्रणाली से काट-छांट कर दिखाने के लिए मीडिया पर भी निशाना साधा।
सेना को जाति से जोड़ना कितना उचित?
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि सेना धर्म, जाति या वर्ग से ऊपर होती है। किसी भी सैनिक या अधिकारी की पहचान उनकी वर्दी, अनुशासन और देशभक्ति से होती है, न कि जाति से।